इंकलाब ज़िंदाबाद !
progressive Articles ,Poems & Socio-political -economical Critque !
गुरुवार, 3 फ़रवरी 2022
हालत बेरोजगार की,
आर्थिक स्थिति है तंग !
बलिहारी इस तंत्र की,
नंग नहाये गंग !!"
कीचड़ उसके पास था मेरे पास गुलाल !
जो भी जिसके पास था उसने दिया उछाल !!"
:- माणिक वर्मा
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