शुक्रवार, 26 नवंबर 2021

सच्ची राष्ट्रनिष्ठा की कमी है

 "भारत में न मंदिरों की कमी है,न मस्जिदों की कमी है! दर्सल यहाँ ऑक्सफोर्ड, हावर्ड JNU जैसे उत्क्रष्ट विश्वविद्यालयों और बेहतरीन अस्पतालों की कमी है!

अदालतों और विधान मंडलों में संविधान को जानने वाले वकीलों,जजों और नेताओं की कमी है! सरकारी विभागोंमें कर्मठ ईमानदार ब्युरोक्रेट्स और कर्मचारियों की कमी है!
उपभोक्ता वस्तु उत्पादन में गुणवत्ता की कमी है!युवाओं में अन्याय के खिलाफ लड़ने के लिये सही लक्ष्य, सही दिशा और साहस की कमी है!पड़ोसी देशों में भारत के प्रति विश्वास और मोहब्बत की कमी है ! भारत के धर्मांध सा्ंप्रदायिक तत्वों में सौहाद्रता और सच्ची राष्ट्रनिष्ठा की कमी है!
इन तमाम कमियों को दूर किये बिना कोई भी 'माई का लाल' इस देश का विकास नही कर सकता ! और न ही इसके बिना यहां कोई आर्थिक, सामाजिक, राजनैतिक क्रांति संभव है।

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