*एक दिन मेरा*
*मोबाइल चलते-चलते*
*धीरे चलने लगा*
*तो कभी हैंग होने लगा*
*एक जानकार ने बताया*
*इसे हल्का करना जरूरी है*
*फोन ओवरलोड हो गया है*
*इसलिए चलने में दिक्कत करता है*
*मैंने व्यर्थ की तस्वीरें, फाइलें, डाटा डिलीट कर दिये*
*चमत्कार सा हो गया*
*फोन चलने ही नही, दौड़ने लग गया*
*फोन क्या चलने लगा*
*मस्तिष्क का इंजन दौड़ने लगा*
*मन में आया*
*यदि अनपेक्षित सामग्री मिटाने से*
*एक निर्जीव फोन तीव्र गति से*
*चल सकता है*
*तो मन में भरी हुई, जमी हुई,*
*अनावश्यक यादें,*
*अप्रिय घटनाऐं, बैर, विरोध की*
*भावनाएें आदि-आदि*
*सारी नकारात्मकताऐं मिटा दी*
*जायें,*
*भुला दी जायें*
*तो आत्मा का पट सद्-विचारों,*
*सकारात्मकताओं के लिए*
*खाली हो जाऐ*
*जीवन बहुत छोटा है*
*क्यों न खुल कर आनन्द से जीया जाये*
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें